देश गांधीजी का 150वां जयंती वर्ष बना रहा है और प्रदेश की कमलनाथ सरकार उनके सिद्धांतों का मजाक उड़ा रही है : गोपाल भार्गव

देश गांधीजी का 150वां जयंती वर्ष बना रहा है और प्रदेश की कमलनाथ सरकार उनके सिद्धांतों का मजाक उड़ा रही है : गोपाल भार्गव
-सरकार बताएं क्या शराब कारोबार को बढ़ावा देने के निर्णय से गांधीजी के विचार मजबूत होंगे?
भोपाल। एक तरफ तो देश गांधीजी का 150वां जयंती वर्ष बना रहा है। प्रदेश की कांग्रेस सरकार एवं मुख्यमंत्री श्री कमलनाथ भी इस आयोजन के माध्यम से गांधीजी के प्रति अपनी श्रद्धा प्रकट कर रहे हैं। वे गांधीजी के सिद्धांतों वाली पार्टी होने का ढिंढोरा भी पीट रहे हैं, लेकिन उनके सिद्धान्तों पर चलने की बजाय उनका मजाक बना रहे हैं। अहिंसा के पुजारी महात्मा गांधी तो हमेशा शराब मुक्त समाज के पक्षधर रहें लेकिन मुख्यमंत्री कमलनाथ प्रदेश में ज्यादा से ज्यादा शराब परोसने के निर्णय ले रही है। वे तो महिलाओं के लिए भी अलग से दुकानें खोलने की तैयारी कर रहे हैं। सरकार के ऐसे बेतुके निर्णय न सिर्फ शर्मनाक बल्कि समाज विरोधी भी है। ये बातें नेता प्रतिपक्ष श्री गोपाल भार्गव ने कमलनाथ सरकार की नई शराब नीति पर मंत्रियों और अधिकारियों द्वारा रोजाना हो रहे खुलासों पर कही। 


शराबखोरी को बढ़ावा देने वाले हर निर्णय का करेंगे विरोध
उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार की करनी और कथनी में जमीन-आसमान का अंतर है। चुनाव जीतने के लिए तो प्रदेश की जनता को वचन दे दिया था कि सरकार बनने पर शराब मुक्त प्रदेश बनाएंगे, लेकिन जब से सरकार बनी है सिर्फ शराब कारोबार को ही बढ़ाने में लगे हुए हैं। नेता प्रतिपक्ष श्री भार्गव ने कहा कि सरकार शराब के कारोबार को बढ़ाने के लिए वाइन फेस्टिवल भी करने की तैयारी कर रही है, लेकिन ऐसा काम हम प्रदेश में नहीं होने देंगे और जरूरत पड़ी तो सड़कों पर उतरकर इसका विरोध भी करेंगे। उन्होंने कहा कि हम इस मामले को सड़क से लेकर सदन तक ले जाएंगे। आखिर सरकार प्रदेश को शराब प्रदेश बनाने में क्यों जुटी हुई है? क्या सरकार के पास आय बढ़ाने के लिए और कोई उपाय नहीं है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस ने नारा दिया था वक्त है बदलाब का, उससे तो यही लगता है कि अब सिर्फ वक्त है शराब का। 
सरकार भाजपा विधायकों को नजरअंदाज न करें-  
नेता प्रतिपक्ष श्री भार्गव ने कहा कि प्रदेश की कांग्रेस सरकार लगातार भाजपा के विधायकों को  तो नजरअंदाज कर रही है और कांग्रेस के पूर्व विधायकों को तवज्जों दे रही है। जिलों एवं विधानसभा क्षेत्रों में होने वाले कार्यक्रमों में वहाँ के भाजपा विधायकों का नाम शिला पट्टिका में नहीं लिखा जा रहा है और पूर्व विधायकों को इसका श्रेय दिया जा रहा है। अधिकारी भी प्रोटोकाल का पालन करने की बजाय मंत्रियों के आदेशों का ज्यादा पालन कर रहे हैं। सरकार तो आती-जाती रहती है, लेकिन अधिकारी अपनी जिम्मेदारियों का पालन ईमानदारी से करें। उन्होंने कहा कि विधायकों को अपने विधानसभा क्षेत्रों में होने वाले आयोजनों में नजरअंदाज करना उचित नहीं है। गत दिवस सीहोर एवं आष्टा के भाजपा विधायकों के साथ ऐसा ही दुर्व्यवहार किया गया है। इससे पहले शाजापुर जिले में भी भाजपा सांसद के साथ दुर्व्यवहार किया गया। अन्य जिलों में भी ऐसी ही स्थिति बनी हुई है। भाजपा ने भी प्रदेश में सरकार चलाई है, लेकिन ऐसी स्थिति कभी नहीं रही। नेता प्रतिपक्ष श्री भार्गव ने कहा कि विधायकों की संख्या में बहुत ज्यादा अंतर नहीं है। सरकार अपनी गरिमा में रहकर काम करे और भाजपा विधायकों की गरिमा का भी ध्यान रखें। उन्होंने कहा कि सबको पता है कि कांग्रेस के शासनकाल में प्रदेश की स्थिति क्या थी, लेकिन भाजपा सरकार में मध्यप्रदेश बीमारू राज्य से प्रगतिशील राज्य बना। पिछले 14 माह में भी कांग्रेस सरकार ने ऐसा कुछ प्रदेश की जनता के लिए नहीं किया, जिसका श्रेय वे लें। उन्होंने कहा कि जनता सब जानती है और इसका हिसाब-किताब वे जल्दी ही करेगी।


Popular posts from this blog

मोदी जी के नेतृत्व में वैश्विक महाशक्ति बनेगा भारतः शर्मा

सड़क दुर्घटना में चार युवकों का निधन दुखदः विष्णुदत्त शर्मा

भाजपा कार्यकर्ताओं को पदाधिकारी बनाकर कैसे सशक्त होगी कांग्रेस ? : डॉ. अभिलाष पाण्डे